वाशिंगटन: नासा ने कहा है कि सौर मंडल में भविष्य में मानवीय खोजों को बढ़ावा देने के लिए वह 2017 अंत तक अपनी अगली पीढ़ी की परमाणु घड़ी अंतरिक्ष में भेजने के लिए तैयार है. नासा ने कहा कि यह घड़ी इससे पहले भेजी गई किसी भी परमाणु घड़ी की तुलना में छोटी, हल्की होगी और इसका परिमाण ज्यादा सटीक होगा.
अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने मंगलवार को एक बयान में कहा कि कैलिफोर्निया के पासाडेना स्थित नासा के जेट प्रणोदन प्रयोगशाला के इंजीनियरों ने अंतरिक्ष यान के साथ गहरे अंतरिक्ष में परमाणु घड़ी को बनाने का काम पूरा कर लिया है, जिसे अंतरिक्ष यान की मदद से 2017 के अंत में कक्षा में ले जाया जाएगा.
अंतरिक्ष यान संचालन के समय एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और यह भविष्य के अंतरिक्ष के मिशनों के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है. ज्यादातर अंतरिक्ष यानों पर ‘दो-तरफा’ विधि से निगाह रखा जाता है. भूमि पर स्थित एंटीना अंतरिक्ष को संदेश भेजता है और वहां से संकेत की प्रतीक्षा करता है. संकेत कहां तक पहुंचा, इसकी माप कर अंतरिक्ष यान की दूरी की गणना की जाती है. एक अंतरिक्ष यान संचालन दल इस सूचना की प्रक्रिया से अंतरिक्ष यान के उड़ान पथ का निर्धारण करता है और यदि किसी सुधार की जरूरत होती है तो सुधार करता है.
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