गाजियाबाद में साईं उपवन में युवती व उसके मंगेतर को बाइक पीआरवी के पुलिसकर्मियों ने एक युवक संग मिलकर प्रताड़ित किया। देश में कमिश्नरेट प्रणाली भी लागू हो गई, मगर पुलिसकर्मी अपना रवैया बदलने को तैयार नहीं है।
पुलिसकर्मियों ने मंगेतर को थप्पड़ मारे और युवती से अश्लीलता कर संबंध बनाने को कहा। तीन घंटे तक उन्हें परेशान किया और एक हजार रुपये पेटीएम करवाने के बाद छोड़ा। इसके बाद भी पुलिसकर्मी नहीं माने और पीड़िता को फोन किया।
पीड़िता तंग आकर पुलिस को शिकायत दी। एसीपी कोतवाली निमिष पाटील ने बताया कि बाइक पीआरवी पर तैनात होम गार्ड राकेश कुमार, सिपाही दिगंबर व अन्य व्यक्ति के खिलाफ नगर कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कर कार्यवाही की जा रही है।
बिसरख की रहने वाली पीड़िता ने अपनी शिकायत में बताया था कि वह बुलंदशहर में रहने वाले अपने मंगेतर के साथ गाजियाबाद में घूमने आई थी। दोनों साईं भवन में बैठे थे। वहीं पर बाइक पीआरवी आकर रुकी। पुलिसकर्मियों ने आते ही उसके मंगेतर को थप्पड़ मारा।
पुलिसकर्मी तीन घंटे तक उन्हें अपमानित करते रहे और जेल भेजने की धमकी देते हुए 10 हजार रुपये भी मांगे। उनके साथ मौजूद तीसरा व्यक्ति कह रहा था कि बुरे फंसोगे तुम लोग। कम से कम पांच-छह लाख रुपए देने पड़ेंगे। राकेश कुमार बार-बार उनसे अश्लील हरकत कर रहा था और संबंध बनाने का दबाव बना रहा था। वह लगातार उन्हें गलत तरह से छू रहा था। पीड़िता का कहना है कि वे दोनों पुलिसकर्मियों के सामने कभी हाथ जोड़ते तो कभी उनके पैर पकड़कर माफी मांगते रहे, लेकिन वे नहीं माने।
तीन घंटे तक मिन्नत करते रहे, जिसके बाद पीड़िता के पेटीएम से एक हजार रुपये लिए और दोनों के मोबाइल नंबर व पता नोट कर कहा कि जल्दी यहां से भाग जाओ। अगर किसी को कुछ बताया तो जेल भिजवा देंगे।
बाद में राकेश कुमार ने उन्हें कॉल कर फिर से धमकाया। तंग होकर पीड़िता ने डीसीपी नगर निपुण अग्रवाल से शिकायत की। उन्होंने एसीपी कोतवाली निमिष पाटील को जांच दी। आरोपित पुलिसकर्मियों को एसीपी ने बुलाया। शिकायत के बारे में पता चलते ही राकेश व दिगंबर 22 सितंबर की रात उनके घर पहुंचे और एक हजार रुपये लौटा दिए।
एसीपी ने बताया कि दोनों पुलिसकर्मियों को निलंबित कर इनके खिलाफ विभागीय जांच शुरू कर दी गई है। इनसे पूछताछ कर तीसरे व्यक्ति की भी पहचान की जा रही है। पीड़िता के बयान व छानबीन कर आगे की कार्रवाई की जाएगी।