फतेहपुर। जिला अभिभावक संघ के अध्यक्ष दीपक कुमार डब्लू के नेतृत्व में जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन प्रेषित किया गया। इस दौरान 9 सूत्रीय मांगों को प्रमुखता से उठाया गया। जिसमें इन लोगों ने कहा की नर्सरी, एलकेजी, यूकेजी जैसी कक्षा में प्रवेश के नाम पर मोटी रकम की फीस ली जाती है। इसके बाद प्रत्येक वर्ष जैसे-जैसे बच्चा अगली कक्षा में जाता है उससे पुनः प्रवेश शुल्क लिया जाता है अथवा उसके स्थान पर डेवलपमेंट, बिजली, फर्नीचर, जनरेटर का चार्ज लेकर वसूली की जाती है जो कि गलत है। जब बच्चा इस विद्यालय में पूर्व से अध्यनरत है तो बार-बार प्रवेश शुल्क नहीं लिया जाना चाहिए। जिसको रोका जाए। निजी विद्यालय अपने विद्यालय से या अपने खुद के द्वारा संचालित दुकान पुस्तक भंडार से ड्रेस व पुस्तक अपने मन मुताबिक दामों में बेंचते हैं।जिनको रोका जाना आवश्यक है। प्रत्येक वर्ष प्राइवेट विद्यालयों द्वारा तीन प्रकार की ड्रेस निर्धारित किया गया है जिसको रोका जाना अति आवश्यक है। प्रत्येक वर्ष प्रत्येक कक्षा की पुस्तक उनका प्रकाशन बदल दिया जाता है जिससे प्रत्येक वर्ष नई पुस्तक खरीदना पड़ता है और वह पुस्तक दूसरे वर्ष किसी काम की नहीं रह जाती उनकी उपयोगिता खत्म हो जाती है जिससे अभिभावकों को अनावश्यक खर्च का बोझ बढ़ता है साथ ही साथ प्रत्येक वर्ष कागज निर्माण के लिए पेड़ों को काटा जाता है जिससे प्रकृति का बहुत भारी नुकसान होता है।इस दौरान इन लोगों ने कहा की तमाम गरीब अभिभावक भारी भरकम शुल्क के चलते अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा देने में असमर्थ हैं। लिहाजा इस पर प्रभावी कदम उठाना चाहिए। प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए एनसीईआरटी की पुस्तक पढ़ना आवश्यक होता है जिनको समस्त उत्तर प्रदेश में समान शिक्षा नीति के तहत लागू किया जाए। ज्ञापन देने वालों में रविंद्र यादव,मुन्ना लोधी, इंद्रजीत सिंह, प्रशांत श्रीवास्तव, मनोज कुमार,अवधेश यादव, पुष्पेंद्र सिंह यादव, सुरेश चंद्र, अश्वनी कुमार यादव, जगदीश प्रसाद मौर्य सहित तमाम लोग मौजूद रहे।