नई दिल्ली: निगम बोध घाट पर गुरुवार को 118 शवों का अंतिम संस्कार किया गया। वहीं, सीमापुरी श्मशान घाट पर 13 शवों का अंतिम संस्कार हुआ। हालांकि बुधवार की तुलना में गुरुवार को श्मशान घाट पर आने वाले शवों की संख्या कुछ कम हुई है। दावा है कि अभी शवों के अंतिम संस्कार के लिए वेटिंग चल रही है।इन दिनों सरकारी अस्पताल से लेकर प्राइवेट अस्पतालों में एंबुलेंस के सायरन ही बज रहे हैं। सीमापुरी श्मशान घाट पर शहीद भगत सिंह सेवा दल के प्रेजिडेंट जितेंद्र सिंह शंटी ने बताया कि भीषण गर्मी के चलते अब श्मशान घाटों पर शव जलाने के लिए लोगों को लंबा इंतजार करना पड़ रहा है।
शंटी के मुताबिक, गुरुवार सुबह से लेकर शाम 7 बजे तक यहां 13 लाशें जलाई गईं। जबकि गुरुवार को 24 लाशें जलाई गईं थीं। मौतों के पीछे भीषण गर्मी बताई जा रही है। शंटी का कहना है इस महीने में पहली बार इतनी लाशें आईं हैं, जबकि पिछले साल इसी महीने हर दिन औसत 4 से 5 लाशें ही आती थीं। इस बार मौत के आंकड़ों में काफी बढ़ोतरी हुई है। जिसकी वजह से शव के अंतिम संस्कार के लिए वेटिंग चल रही है।
वहीं, निगम बोध घाट पर गुरुवार को शाम 7 बजे तक 111 लाशें जलाई जा चुकी हैं। बाकी 7 लाशें वेटिंग में हैं। यानी गुरुवार को कुल 118 शवों का अंतिम संस्कार किया गया। जबकि बुधवार को निगम बोध घाट पर 142 शवों का अंतिम संस्कार किया गया था। अधिकारियों का दावा है कि पहले इस घाट पर रोजाना औसतन 55-60 शव लाए जाते थे। पिछले दो-तीन दिनों से निगम बोध घाट पर आने वाले शवों की संख्या में भारी वृद्धि हुई है।