लखनऊ, देश की जीवनदायिनी माने जाने वाली गंगा नदी को लेकर केंद्र के साथ उत्तर प्रदेश सरकार भी बेहद गंभीर है। गंगा नदी की स्वच्छता के अभियान के तहत उत्तर प्रदेश सरकार आज से पांच दिनी गंगा यात्रा की शुरुआत कर रही है। गंगा यात्रा बिजनौर के साथ बलिया से शुरू होगी।
देश की पहली पांच दिवसीय गंगा यात्रा को सोमवार को बलिया के दुबे छपरा से राज्यपाल आनंदीबेन पटेल तो बिजनौर के सबलगढ़ से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ यात्रा को हरी झंडी दिखाएंगे। उनके साथ उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत भी रहेंगे।
बलिया से बिजनौर तक गंगा तट पर पडऩे वाले 27 जिलों से होकर गुजरने वाली यात्रा के दोनों हिस्सों का समागम 31 जनवरी को कानपुर में होना है। राज्यपाल बलिया से गंगा यात्रा रवाना करेंगी। उनके साथ बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी भी होंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बिजनौर से यात्रा का शुभारंभ करने के साथ ही बिजनौर के सबलगढ़ में जनसभा को भी संबोधित करेंगे। योगी आदित्यनाथ हस्तिनापुर के जंबूद्वीप में पहला रात्रि विश्राम करेंगे, जबकि मखदूमपुर में गंगा आरती करेंगे।
गंगा यात्रा कुल 1238 किलोमीटर का सफर तय करने जा रही इस यात्रा में प्रदेश सरकार के 56 और केंद्र सरकार के आठ मंत्री शामिल होंगे। यात्रा के दौरान जगह-जगह गंगा आरती, 100 स्थानों पर स्वागत और 30 स्थानों पर जन सभाएं तय की गई हैं। जलशक्ति मंत्री डॉ. महेंद्र सिंह ने बताया कि यह यात्रा आस्था के साथ गंगा के आर्थिक और पर्यावरणीय महत्व को समझाएगी।
यात्रा के लिए बनाया कंट्रोल रूम
गंगा यात्रा का नोडल सिंचाई विभाग है। इसके लिए विभाग ने कंट्रोल रूम भी बनाया है, जो 24 घंटे क्रियाशील रहेगा। मुख्य अभियंता और अधीक्षण अभियंता को इसकी जिम्मेदारी दी गई है। कंट्रोल रूम में सुबह सात से दोपहर तीन बजे तक दो अधिशासी और सहायक अभियंता रहेंगे। दूसरी पाली में दोपहर तीन से रात्रि 11 बजे तक दो अधिशासी अभियंता और एक सहायक अभियंता, जबकि तीसरी पाली में रात 11 से सुबह सात बजे तक एक अधिशासी व दो सहायक अभियंताओं की तैनाती रहेगी।