बाबा निज़ामी का उर्स बना हिन्दू-मुस्लिम एकता का प्रतीक

फतेहपुर।खागा न्यूज़ वाणी नफीस जाफरी फतेहपुर बाबा निज़ामी रहमतुल्लाह अलैह के तीन दिवसीय सालाना उर्स एवं मेले मे हिन्दू-मुस्लिम भाईचारा की मिसाल देखने को मिली। सभी लोगों ने बाबा के अस्थाने मे गुलपोशी कर मुरादें मांगी वहीं जवाबी कौव्वाली मे कौव्वालों ने पूरी रात अपनी फनकार से समां बांध रखा और महिलाओं व बच्चो ने मेले में जमकर खरीददारी की।
हर वर्ष की तरह इस बार भी जनपद के खागा नगर के पक्का तालाब स्थित निज़ामी नगर आसताना आलिया मे बाबा निज़ामी रहमतउल्लाह अलैह का तीन दिवसीय 37वां सालाना उर्स एवं मेले का आयोजन किया गया जिसमे बड़ी संख्या मे जारीनो ने अकीदत के साथ बाबा के आसताने मे गुलपोशी कर मुरादें मांगी और आसताने की ओर से उर्स मे आने वाले जारीनो के लिए लंगर का आयोजन किया गया जिसमें बड़े ही एतराम के साथ लोगों ने बैठकर लंगर खाया। साथ ही उर्स मे हिन्दू-मुस्लिम वर्ग के लोगों ने बड़ी तादाद मे शामिल होकर भाईचारे की मिसाल कायम की। दोनांे ही वर्ग के लोगों ने उर्स को शांतिपूर्ण सम्पन्न कराने मे तीन दिन तक अपना सहयोग देते रहे। सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस बल भी तैनात रहा। उर्स के दौरान लगे मेले मे महिलाओं एवं बच्चो ने जमकर खरीदारी की। वहीं देर रात जवाबी कव्वाली का भी आयोजन किया गया जिसमें इलाहाबाद के कौवाल खालिद शाबरी नूरी व हरदोई संडीला के समीर शमीम वारसी के बीच कौव्वाली का आयोजन हुआ जिसमें कौव्वालों ने पूरी रात उमड़े जनसैलाब को अपनी फनकार से समां बांध रखा। ़उर्स के आयोजक मो0 शमीम चिश्ती निज़ामी नूरी ने बताया कि वह हर साल उर्स का आयोजन करते हैं जिसमें हिन्दू मुस्लिम अपना-अपना सहयोग देकर उर्स को सफल बनाते हैं और मेले के दौरान कई जनपदों के दुकनदार भी अपनी दुकान लगाते हैं जिसमें उर्स मे आने वाले महिलायें व पुरूष जमकर खरीददारी करते हैं। इस मौके पर मो0 शब्बीर वारसी, दीप नारायण विश्वकर्मा, बजरंगी तिवारी, रवि नारायण शुक्ला, मो0 मुन्ना, मो0 हलीम, राजेन्द्र कुमार, चुन्ना राईन, सिराज मंसूरी, मो0 अहमद सिद्दीकी आदि मौजूद रहे।

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