यूपी के मुजफ्फरनगर में फैक्ट्री की फर्नेस में अचानक विस्फोट होने से बुरी तरह झुलसे दो मजदूरों की उपचार के दौरान मौत हो गई। फैक्ट्री मालिक ने विस्फोट की घटना को दबाए रखा। दोनों मजदूरों की मौत गंभीर रूप से झुलसने के चलते मेरठ के सुभारती अस्पताल में हुई। स्वजन के हंगामे के बाद फैक्ट्री मालिक से समझौते के बाद मामला शांत हुआ। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
थाना सिखेड़ा क्षेत्र के गांव निराना के समीप रबर प्रासेज प्लांट संचालित है। प्लांट में फर्नेस पर काम करने वाले थाना मंसूरपुर क्षेत्र के गांव पुरबालियान निवासी प्रदीप पुत्र महेन्द्र तथा मोनू पुत्र मांगा 24 दिसंबर को बुरी तरह झुलस गए थे। सूत्रो के अनुसार दोनों 24 दिसंबर को फैक्ट्री में कार्य कर रहे थे। उसी दौरान फर्नेस के बैक मारने से जबरदस्त विस्फोट हुआ। फर्नेस से निकले किसी गर्म पदार्थ के चलते दोनों मजदूर गंभीर रूप से झुलस गए थे।
जिन्हें तुरंत ही पास के गांव गंगदासपुर उपचार के लिए ले जाया गया। जहां चिकित्सक ने हालत नाजुक बता किसी बड़े असपताल में उपचार की हिदायत देकर दोनों को वापस कर दिया था। जिसके बाद झुलसे प्रदीप तथा मोनू को मेरठ के सुभारती अस्पताल ले जाया गया। जहां हालत बिगड़ने पर मोनू व प्रदीप की उपचार के दौरान बुधवार को मौत हो गई। स्वजन के अनुसार मोनू अविवाहित था जबकि 24 वर्षीय मृतक प्रदीप के तीन बच्चे हैं। मौत के बाद दोनों के स्वजन ने फैक्ट्री मालिक से मुआवजा की मांग करते हुए हंगामा किया।
प्रभारी निरीक्षक थाना सिखेड़ा अनिल कुमार सिंह का कहना है कि 24 दिसंबर को फैक्ट्री में हादसा हुआ था। जिसमें झुलसने से दो मजदूरों की उपचार के दौरान मौत हो गई। दोनों मृतकों की ओर से कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई। इस मामले में फैक्ट्री मालिक गुलजार व मृतकों के स्वजन की ओर से लिखित समझौता किया गया है।