झांसी: पबजी गेम खेलने से मना करने पर 14 साल के किशोर ने सुसाइड कर लिया। मामला एरच के मलाहीटोला गांव का है। मलाहीटोला निवासी गोकुल केवट के दो बेटे हैं। उनका छोटा बेटा सरमन 8वीं के बाद पढ़ाई छोड़ चुका था। परिजनों का कहना है शनिवार दोपहर करीब एक बजे सरमन मोबाइल पर पबजी खेल रहा था। मोबाइल पर काफी देर से गेम खेलता देख मां ने उसे डांट दिया। इसके बाद मोबाइल छीनने की धमकी दी। यह सुनकर सरमन नाराज हो गया। वह घर से निकलकर खेतों की ओर चला गया। कुछ देर बाद मां भी सरवन को तलाशते हुए खेत पहुंची। मां को अपने पीछे आता देख सरवन बबूल के पेड़ पर जा चढ़ा और फंदा बनाकर लटक गया।
मां यह देखते ही चीख पड़ी। शोर-शराबा सुनकर आसपास खेतों में काम कर रहे लोग आ गए। उन लोगों ने सरवन को फंदे से नीचे उतारा। लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। सूचना मिलने पर एरच थाना प्रभारी नीलेश कुमारी मौके पर जा पहुंची। फोरेंसिक टीम को भी बुला लिया गया। घटना से परिवार में कोहराम मचा है। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। कई घंटे बाद भी मां को होश नहीं आया था।
थाना प्रभारी नीलेश कुमारी ने परिजनों को बताया बच्चे में गेमिंग की लत थी। इसी वजह से उसने यह आत्मघाती कदम उठाया है। पूरे मामले की छानबीन की जा रही है। मृतक के चाचा ओम प्रकाश निषाद ने बताया कि भतीजा रोज मोबाइल में गेम खेलता रहता था। न पढ़ाई करता था, न कोई काम करता था। दिनभर मोबाइल में नेट से चलने वाले पबजी जैसे गेम खेलता रहता था। उसकी मां ने डांटा कि मोबाइल में क्या किया करता है, कोई काम ही कर लिया करो। कहीं चले जाओ या खेत में चले जाया करो। बस इसी बात का बुरा मानकर घर से निकल गया। आधे घंटे तक जब बच्चा दिखा नहीं, तो मां घबरा गई।
इसके बाद खेत की तरफ भागी। तभी खेत से 500 मीटर दूर भतीजे पेड़ पर लटका हुआ था। देखते ही उसकी मां जोर-जोर से चिल्लाने लगी और बेहोश हो गई। आवाज सुनकर आसपास के लोग पहुंचे। इसके बाद पुलिस को खबर दी गई। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम करा दिया है। आगे की वैधानिक कार्रवाई की जा रही है।