इलाहाबाद का नाम बदलकर ‘प्रयाग’ करने की मांग ने पकड़ा जोर

इलाहाबाद का नाम बदलकर प्रयाग किये जाने की लंबे अर्से से चली आ रही मांग तेजी पकड़ने लगी है। उत्तर प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने सोमवार को राज्यपाल राम नाईक को पत्र लिखकर इलाहाबाद का नाम बदलकर प्रयाण किए जाने की मांग की है।सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा कि महाराष्ट्र से पूर्व सांसद और उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक बंबई का नाम बदलकर मुंबई किए जाने में काफी मदद की थी। मैंने उनको पत्र लिखकर लंबे अर्से से इलाहाबाद का नाम प्रयाग किये जाने की मांग की है।’ पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शात्री के नाती और प्रदेश सरकार में मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने बीजेपी की सरकार बनने के दिन से ही इलाहाबाद का नाम बदलकर प्रयाण करने की मांग कर रहे थे।इससे पहले, ऐसी खबरें थीं कि प्रदेश की कैबिनेट ने इलाहाबाद के नए नाम को मंजूरी दे सकती है लेकिन इस आशय का प्रस्ताव अभी तक नहीं आया है। हाल ही में, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की इलाहाबाद की यात्रा के दौरान अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ने सीएम से इलाहाबाद का नाम अगले वर्ष लगने वाले कुंभ मेला से पहले प्रयाग करने की मांग की थी। इससे पहले अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष नरेंद्र गिरि ने भी इस आशय का प्रस्ताव दिया था।इतिहास के अनुसार, मुगल सम्राट अकबर ने 1580 में प्रयाग का नाम बदलकर इलाहाबाद कर दिया था। सम्राट ने कहा था कि यह अल्लाह (ईश्वर) का स्थान है, इसलिए इसे इलाहाबाद के नाम से जाना जायेगा। नरेंद्र गिरि ने कहा, ‘हम उम्मीद करते हैं कि मुख्यमंत्री इलाहाबाद का नाम प्रयागराज किये जाने के लिये आदेश जारी करेंगे।’साल 2001 में कुंभ मेला के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री राजनाथ सिंह और राज्यपाल विष्णु कांत शास्त्री इलाहाबाद का बदलकर प्रयागराज करने के पक्ष में थे, लेकिन प्रस्ताव पास नही हो पाया।

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