मध्यप्रदेश कोरोना ने जहां आम और खास लोगों की जिंदगी और जीने के तौर-तरीकों में बदलाव कर दिया है। वहीं सामाजिक कार्यक्रमों में भी अनोखे बदलाव आए हैं। छत्तीसगढ़ में पहली बार जैन समाज के संगठन भारतीय जैन संगठना ने विवाह योग्य युवक-युवतियों का रिश्ता तलाशने के लिए आनलाइन प्लेटफार्म उपलब्ध करवाया।महामारी के दौर में जब एक शहर से दूसरे शहर में जाना मुश्किल हो गया है और अभिभावक अपनी संतानों का रिश्ता जुड़वाने परेशान हैं तब उन्हें राहत पहुंचाने के लिए वर्चुअल परिचय सम्मेलन कराया गया। सम्मेलन की खासियत यह रही कि छह देशों अमेरिका, कनाड़ा, जर्मनी, दुबई, सिंगापुर ब्रिटेन से युवक-युवतियों ने भारत में रिश्ता करने के लिए रुचि दिखाई। विदेशों से 20 से अधिक युवाओं ने परिचय दिया और भारतीय संस्कारों का पालन करने वाली युवती को जीवनसाथी के रूप में पाने की इच्छा जताई।भारतीय जैन संगठना के प्रदेश अध्यक्ष पंकज चोपड़ा ने बताया कि दो साल से अभिभावक अपने विवाह योग्य बेटे-बेटियों के रिश्ते को लेकर परेशान थे। कारण कि महामारी में देशभर में लाकडाउन लगा हुआ था जहाज, ट्रेन सुविधा बंद थी। एक राज्य से दूसरे राज्य जाने में काफी दिक्कतें हो रहीं थीं।यहां तक कि ज्यादातर परिवार महामारी के दौर में न किसी के घर जाना चाहते थे। न किसी को अपने घर बुलाना चाहते थे। सार्वजनिक आयोजनों पर भी प्रतिबंध लगा हुआ है। इसे देखते हुए परिचय सम्मेलन आनलाइन कराने का फैसला लिया गया। कई भारतीय परिवार विदेशों में बस चुके हैं, वे भी भारत नहीं आ सकते थे इसलिए आनलाइन परिचय से एक आशा की किरण जागी है। अनेक रिश्तों पर सहमति बनी है।संगठना के प्रवक्ता चंद्रप्रकाश ललवानी बताते हैं कि कोरोनाकाल में लोगों का मेल-मिलाप बंद है विवाह योग्य युवाओं के लिए जीवनसाथी तलाशना एक चुनौती सा बन गया है। रविवार को हुए आनलाइन सम्मेलन में 325 से अधिक युवक-युवतियों ने अपने भावी जीवनसाथी में होने वाली खूबियों पर खुलकर राय रखी। कोरोना की दूसरी लहर में ने अभिभावकों, युवाओं को एक नहीं राह दिखाई है।इस बार आयोजन की जिम्मेदारी छत्तीसगढ़ इकाई को मिली थी। प्रदेश पदाधिकारियों ने तय किया कि सम्मेलन का आयोजन वर्चुअल प्लेटफार्म पर करेंगे ताकि शासकीय नियम भी न टूटें और लोग संक्रमण से सुरक्षित भी रहें। गूगल प्ले स्टोर से बीजेएस कनेक्ट एप के माध्यम से यह सुविधा उपलब्ध कराई गई।