न्यूज़ वाणी
जंगल से निकली चिंगारी से जले मकान,मुवावजे की मांग को लेकर ग्रामीणों ने किया चक्का जाम
ब्यूरो मुन्ना बक्श
बाँदा। जनपद के बबेरु कोतवाली क्षेत्र के जुगरेहली गांव में जंगल से निकली चिंगारी से करीब 20 से अधिक मकान जलकर खाक। वही झुलसे वृद्ध दम्पति को जिला अस्पताल पर गम्भीर हालात में भर्ती कराया था,जहाँ इलाज के दौरान वृद्ध दम्पति की मौत हो गयी,वही अधिकारियों ने इसको नजर अंदाज किया, जिसके चलते ग्रामीणों ने मुख्य मार्ग पर जाम लगा दिया। जाम में घंटों एंबुलेंस फंसी रही, अधिकारियों के आश्वासन के बाद करीब एक घंटे बाद चक्का जाम खुल सका।
बबेरु कोतवाली क्षेत्र के ग्राम जुगरेहली में अचानक गुरुवार को जंगल मे सूखे पत्तों से लगी आग की लपटों ने गांव को अपने आगोश में ले लिया। और करीब 20 परिवारों के आशियानों को जलाकर खाक कर दिया,जिसमें खाने-पीने का सामान व पहनने,ओढ़ने के कपड़े जलकर खाक हो गए,इतनी बड़ी घटना के बावजूद भी जिले के साथ तहसील के कोई भी आला अधिकारी नहीं पहुंचे,जिसके चलते पीड़ित परिवार रात भर खुले आसमान के नीचे छोटे-छोटे मासूम बच्चे भूखे पेट सो गए,जब अधिकारी पीड़ितों की सुधि लेने मौके पर नहीं पहुंचे तो नाराज ग्रामीणों ने जुगरेहली बस स्टॉप के पास पहुंचकर आज शुक्रवार को बबेरू बांदा मुख्य मार्ग पर जाम लगा दिया।जाम लगने से दोनों ओर से सैकड़ों गाड़ियां की लाइने लग गयी। इतना ही नहीं कई एंबुलेंस भी मरीजों को लेकर मुख्यालय जा रही थी,वह भी जाम में फंस गई,जाम की सूचना जैसे ही प्रशासन को मिली वैसे ही एसडीएम सुरभि शर्मा,नायब तहसीलदार अभिनव तिवारी,तहसीलदार अजय कटियार के अलावा कोतवाली प्रभारी अरुण कुमार पाठक मौके पर पहुंचकर ग्रामीणों व पीड़ित परिजनों को समझाने की कोशिश किया,लेकिन ग्रामीणों में उक्त अधिकारियों के प्रति इतना रोष था,की उनकी एक नहीं सुनी घटना की सूचना पर जिला पंचायत अध्यक्ष सुनील पटेल भी मौके पर पहुंच गए,अधिकारियों और नेताओं के समझाने के बाद ग्रामीणों ने करीब एक घंटे बाद जाम खोलने के लिए तब राजी हुए जब एसडीएम ने आश्वासन दिया कि कैंप लगाकर पीड़ित परिजनों को भोजन की व्यवस्था की जाएगी व जिन परिवारों को अग्नि से नुकसान हुआ उन परिवारों को दैवीय आपदा के तहत आर्थिक मदद दी जाएगी, तब कहीं जाकर करीब एक घंटे बाद जाम खुल सका।