फतेहपुर। शिक्षक दिवस पर जिला कारागार में बंदियों ने शिक्षा के महत्व आदि पर सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत कर अपनी प्रतिभा को प्रदर्शित किया। जेल अधीक्षक मोहम्मद अकरम खान के साथ जेलर सुरेश चंद्र, डिप्टी जेलर अंजनी कुमार व रविशंकर तिवारी ने सभी बंदी शिक्षकों व अन्य शिक्षकों व उपस्थित समाजसेवियों को सर्वप्रथम शिक्षक दिवस की शुभकामनाएं प्रेषित की। साथ ही शिक्षा के मह्त्व पर चर्चाएं भी की।
कार्यक्रम में महिला बंदियों ने एकलव्य व गुरु-शिष्य शिक्षा के महत्व पर एक नाटक प्रस्तुत किया। जिसमें एक गुरु व शिष्य के ओहदे का आभास कराया गया। महिला बंदी की टीम लीडर कविता शुक्ला व उनकी सहयोगी गुड़िया, सुलेखा साहू व उमा देवी रहीं जबकि पुरुष बंदियों में विनोद कुमार, उमाकांत व गौरव मिश्रा ने गीत प्रस्तुत किया। इसी क्रम में ट्रुथ मिशन स्कूल के निदेशक पैड्रिक पॉल व प्रिन्सिपल जेन्सी पॉल ने सभी शिक्षको व बंदी शिक्षकों को सम्मान पत्र व उपहार भेंट किया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए जेल अधीक्षक मोहम्मद अकरम खान ने कहा कि शिक्षक ही समाज का महत्वपूर्ण स्तंभ है, शिक्षक ही राष्ट्र का निर्माता होता है। व्यक्ति के जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में अज्ञानता रूपी अंधकार से निकलकर प्रकाश में ले जाने का श्रेय शिक्षक का ही होता है। प्रत्येक माता-पिता का सपना होता है कि पढ़ लिखकर उसकी संतान समाज में माता-पिता का नाम रोशन करे, जिसको साकार शिक्षक ही करता है। इस अवसर पर शिक्षक अक्षय प्रताप सिंह, शिक्षिका अर्चना सिंह, सीमा चौहान एवं आंगनबाड़ी कार्यकत्री शबीन ज़ाफ़री उपस्थित रहीं।