कल्याण लोकसभा सीट को लेकर भाजपा और शिवसेना में हुआ विवाद, CM के बेटे बोले – गठबंधन पर असर ना हो, मैं इस्तीफा देने के लिए तैयार हूँ

 

महाराष्ट्र की कल्याण लोकसभा सीट को लेकर भाजपा और शिवसेना (शिंदे गुट) के कुछ नेताओं के बीच अनबन की खबरें सामने आ रही हैं। स्थानीय भाजपा नेताओं ने 8 जून को आगामी लोकसभा चुनावों में एकनाथ शिंदे की शिवसेना को समर्थन नहीं देने का प्रस्ताव पारित किया।

इसके जवाब में सीएम एकनाथ के बेटे श्रीकांत शिंदे ने कहा कि, यह अनबन सिर्फ स्थानीय नेताओं के बीच है। गठबंधन पर कोई असर न हो, इसके लिए मैं इस्तीफा देने के लिए भी तैयार हूं।

 

भाजपा नेता के खिलाफ दर्ज मामला, शिवसेना पर लगाया आरोप
महाराष्ट्र में दोनों पार्टियों के बीच यह तकरार भाजपा के डोंबिवली पूर्वी मंडल के अध्यक्ष नंदू जोशी को लेकर है। जोशी के खिलाफ एक छेड़छाड़ का मामला दर्ज किया गया है। स्थानीय भाजपा नेताओं ने आरोप लगाया है कि जोशी को शिवसेना नेताओं ने राजनीतिक बदला लेने के लिए फंसाया है।

नंदू जोशी के मामले को लेकर 8 जून को भाजपा के कैबिनेट मंत्री रवींद्र चव्हाण की उपस्थिति में कल्याण निर्वाचन क्षेत्र में एक बैठक आयोजित की गई। कल्याण श्रीकांत का निर्वाचन क्षेत्र में भी है। बैठक में स्थानीय भाजपा नेताओं ने चव्हाण के सामने एक प्रस्ताव पारित किया, जिसमें कहा गया कि वो आने वाले चुनाव में श्रीकांत का समर्थन नहीं करेंगे।

समर्थन न देने वाली बात सुनकर श्रीकांत शिंदे ने कहा कि, वह किसी पद की उम्मीद नहीं रखते हैं और गठबंधन के वरिष्ठ नेता इस बात का फैसला करेंगे कि आगामी लोकसभा चुनाव में किसे नामित किया जाए। शिंदे ने आगे कहा, भले ही मुझे नॉमिनेट नहीं किया जाए लेकिन हम सर्वसम्मति से जो भी उम्मीदवार होगा उसके लिए प्रचार करेंगे और उसे जिताएंगे।

 

श्रीकांत शिंदे ने कहा कि पार्टी 2024 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फिर से सत्ता में लाने का प्रयास करेगी। दोनों पार्टियों के वरिष्ठ नेताओं के बीच कोई गलतफहमी नहीं है। उन्होंने कहा कि शिवसेना का लक्ष्य केंद्र में भाजपा-शिवसेना गठबंधन की सरकार बनाना है। अगर कोई इस दिशा में हमारे द्वारा किए जा रहे काम का विरोध करता है, अगर कोई नाराज होता है और अगर गठबंधन में कोई व्यवधान आता है तो मैं अपने पद से इस्तीफा देने के लिए भी तैयार हूं।

महाराष्ट्र में लोकसभा की 48 सीटें हैं। 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी-शिवसेना गठबंधन ने 45 सीटों पर जीत हासिल की थी। पांच जून को एकनाथ शिंदे ने घोषणा की थी कि, दोनों पार्टियां लोकसभा चुनाव, राज्य विधानसभा और स्थानीय निकाय चुनावों सहित राज्य में आगामी सभी चुनाव संयुक्त रूप से लड़ेंगी।

 

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