KBC-15 में 1 करोड़ जीतने वाले जसकरण ने बताया कि मेरा गांव भारत-पाकिस्तान बॉर्डर पर है, जीती रकम से शहर में घर खरीदूंगा
पंजाब में तरनतारन के पिछड़े सरहदी गांव खालड़ा के जसकरण सिंह ‘कौन बनेगा करोड़पति 15’ के पहले करोड़पति बने। जसकरण ने एक करोड़ रुपए जीते हैं। 21 साल के जसकरण की जर्नी काफी इमोशनल कर देने वाली है।
हाल ही में जसकरण ने बताया कि वो पंजाब के जिस गांव से आते हैं वहां से पाकिस्तान बॉर्डर बस आधा किलोमीटर दूर है। किसी भी वक्त जंग छिड़ जाती है और इसीलिए जीती हुई रकम से वे सबसे पहले अपने गांव से दूर एक घर खरीदेंगे।
मैं इस मोमेंट का पिछले चार साल से इंतजार कर रहा था। पिछले चार साल से मैं सिर्फ सोचा करता था और आखिरकार अब इस मोमेंट को जी रहा हूं। मेरे लिए इससे बड़ी फीलिंग कुछ नहीं हो सकती। मैं तरनतारन के पिछड़े सरहदी गांव खालड़ा से हूं जोकि भारत और पाकिस्तान के बॉर्डर पर है।
मैं पिछले चार साल से इस शो के तैयारी कर रहा था, जहां शुरूआती की परीक्षा, ऑडिशन क्लियर कर देता लेकिन कोई-न-कोई कमी की वजह से फास्टेस्ट फिंगर फर्स्ट के राउंड तक नहीं पहुंच पाता था। मैं हर साल अपनी गलतियों से सीखता गया और खुद को बेहतर बनाता गया।
मैं एक गांव में पला-बढ़ा हूं। बचपन में मैंने प्राइवेट स्कूल से पढाई की थी। कुछ वक्त के लिए डिस्ट्रिक्ट लेवल तक क्रिकेट भी खेला हूं लेकिन भ्रष्टाचारी की वजह से मुझे अपना क्रिकेटर बनने का सपना छोड़ना पड़ा। उसके बाद मैंने अपनी पढ़ाई को गंभीरता से लेना शुरू कर दिया। जब से पढ़ाई शुरू की है तभी से इस शो की तैयारी भी शुरू कर दी थी।
फास्टेस्ट फिंगर फर्स्ट में जैसे ही अमिताभ सर ने मेरा नाम लिया, मैं शॉक्ड हो गया। सबसे पहले मैंने हाथ जोड़कर भगवान का शुक्रियादा किया। हॉट सीट पर बैठने से पहले दिमाग में कई सवाल थे लेकिन जैसे ही उस पर बैठा, मैं टेंशन-मुक्त हो गया। ऐसा बिल्कुल नहीं लग रहा था रहा था की जिनसे बात करने के लिए मैं इतने सालों तक इंतजार कर रहा था, उनसे क्या कहूंगा? मानो, जैसे अमिताभ सर मेरे दोस्त जैसे थे। उन्होंने बहुत कम्फर्टेबल महसूस कराया। वो आपको कभी एहसास नहीं होने देंगे की आप एक आम इंसान हो और वो हमारे देश के सुपरस्टार हैं।
पिछले ढाई साल से UPSC की तैयारी में जुटा हुआ हूं। केबीसी की वजह से ही मैं अलग-अलग सब्जेक्ट पर फोकस कर पाया। जैसे ही सिविल सर्विसेज का सिलेबस देखा तो मुझे यकीन हुआ की मैं इसमें आगे बढ़ सकता हूं। शुरुआत में इंटरनेट की मदद से नोट्स बनाता था, फिर छोटे-छोटे मैगजीन में से नोट्स बनाता था। ज्यादातर पढ़ाई इंटरनेट से की, KBC का कोई भी ऐपिसोड मिस नहीं करता था।
मेरी सबसे पहली प्रायोरिटी घर और फैमिली मेंबर्स हैं। हमारा घर बॉर्डर के पास है, वहां बहुत खतरा है। आपको भी नहीं पता कब क्या हो जाए। कई बार तो गांव ही खाली करवा देते हैं। मेरे दादाजी दो बार घर छोड़कर गए थे। वे इस उम्मीद से जाते की वापस न लौटना पड़े। कभी भी जंग छिड़ सकती है। इसीलिए सबसे पहले अब मैं अपने गांव से दूर एक शहर में घर खरीदना चाहूंगा। हालांकि ये फैसला मैंने अपने परिवार वालों पर छोड़ दिया है क्योंकि मैं अपनी पढ़ाई पर फोकस करना चाहता हूं।