हमीरपुर। नगर के सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कालेज में विद्या भारती के तत्वावधान में स्वदेशी स्वावलम्बी उद्यमिता सप्ताह मनाया गया। प्रधानाचार्य रामप्रकाश गुप्ता ने छात्रों को बताया कि स्वदेशी का अर्थ है अपने देश अथवा अपने देश में निर्मित वृहद अर्थ में किसी भौगोलिक क्षेत्र में जन्मी, निर्मित या कल्पित वस्तुओं नीतियों विचारों को स्वदेशी कहते हैं। वर्ष 1905 बंग-भंग विरोधी जन जागरण से स्वदेशी आन्दोलन को बहुत बल मिला। यह 1911 तक चला और गांधी जी के भारत मे पदार्पण के पूर्व सभी सफल आन्दोलनों में से एक था। अरविन्द घोष, रविन्द्रनाथ ठाकुर, विनायक दामोदर सावरकर, लोकमान्य बालगंगाधर तिलक और लाला लाजपत राय स्वदेशी आन्दोलन के मुख्य उद्घोषक थे। आगे चलकर यही स्वदेशी आन्दोलन महात्मा गांधी के स्वतंत्रता आन्दोलन का भी केन्द्र बिन्दु बन गया। उन्होंने इसे स्वराज की आत्मा कहा। गौर तलब है कि उक्त सप्ताह प्रतिवर्ष पंडित दीनदयाल उपाध्याय जयन्ती 25 सितम्बर एवं महात्मा गांधी जयन्ती दो अक्टूबर तक स्वदेशी सप्ताह मनाया जाता है। इसका उद्देश्य विशेष रूप से विद्यालय के बच्चों के माध्यम से अभिभावक एवं समाज में स्वदेशी भावना को जागृत करने के लिए प्रचार प्रसार का कार्य होता है। इसी निमित्त विद्या भारती देश भर के अपने सभी विद्यालयों में स्वदेशी सप्ताह का आयोजन करती है। यह जानकारी विद्यालय के मीडिया प्रभारी आचार्य वेदप्रकाश शुक्ला ने दी।