फतेहपुर। तहसील बिन्दकी के मलवां ब्लाक के ग्राम पंचायत गोधरौली में क्रोमियम अपशिष्ट के जमाव तथा दूषित भूगर्भ जल का प्रकरण संज्ञानित होने पर जिलाधिकारी सी० इंदुमती द्वारा स्वयं स्थलीय निरीक्षण किया गया। जिलाधिकारी द्वारा ग्राम प्रधान तथा अन्य ग्रामवासियों से वार्ता कर समस्या के बारे में विस्तार से जानकारी भी प्राप्त की गयी। जिन हैण्डपम्पों से दूषित जल निकलने की बात संज्ञान में आयी थी, उन्हे अपने समक्ष चलवाकर देखा गया तथा मौके पर उपस्थित अधिशाषी अभियन्ता जल निगम (ग्रामीण) एवं उ०प्र० प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारियों को ऐसे सभी हैण्डपम्पों से निर्धारित मानको के अनुरूप सैम्पल इकट्ठा करने तथा मान्यता प्राप्त प्रयोगशाला से इनका परीक्षण कराने हेतु निर्देशित किया गया। साथ ही मौके पर उपस्थित उपजिलाधिकारी बिन्दकी एवं खण्ड विकास अधिकारी मलवां को इस क्षेत्र के इन सभी हैण्डपम्पों एवं बोरवेल को तत्काल बन्द करने तथा इनके जल का प्रयोग पीने, कपड़ा धुलने तथा पशुओं को पिलाने में न होने देने के निर्देश दिये गये। भ्रमण के दौरान उपस्थित अधिशाषी अभियन्ता जल निगम (ग्रामीण) को निर्देशित किया गया कि ग्राम पंचायत के सभी परिवारों को शुद्ध पेयजल की आपूर्ति ग्रामीण जल जीवन मिशन के अन्तर्गत सुनिश्चित की जाये तथा कम दबाव एवं अधिक ऊचाई के कारण जिन घरों में पेयजल की आपूर्ति में समस्या आ रही है उसके निराकरण हेतु तत्काल प्रेशर मशीनों का इंतजाम करते हुए सभी घरों में जलापूर्ति सुनिश्चित की जाये। वैकल्पिक प्रबन्ध हेतु उपजिलाधिकारी बिन्दकी को नगर पालिका के माध्यम से तथा खण्ड विकास अधिकारी को ग्राम पंचायत के माध्यम से स्वच्छ पेयजल के टैंकरों की आपूर्ति हेतु निर्देशित किया गया। ग्रामवासियों के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु चिकित्सा विभाग की टीमों द्वारा कैम्प लगाकर तथा घर-घर जाकर सभी ग्रामवासियों के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु भी निर्देशित किया गया। यह भी निर्देशित किया गया कि जो ग्रामवासी दिव्यांग है उनकी पृथक से सूची बनाकर आवश्यक कार्यवाही हेतु उपलब्ध करायी जाये। पशुओं एवं पोल्ट्री के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु मुख्य पशुचिकित्साधिकारी को निर्देशित किया गया। द्वारा यह भी निर्देशित किया गया कि उपजिलाधिकारी, पुलिस क्षेत्राधिकारी, उपायुक्त उद्योग एवं क्षेत्रीय अधिकारी उ०प्र० प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ऐसे सभी औद्योगिक इकाईयों को चिन्हित करने की कार्यवाही करें, जिनके द्वारा इस प्रकार के अपशिष्ट डम्पिंग की कार्यवाही की गयी है। साथ ही जो अपशिष्ट सामग्री ग्राम में डम्प की गयी है उनका वैज्ञानिक रीति से निस्तारण सुनिश्चित किया जाये। हाईवे की सर्विस रोड के किनारे डम्प किये गये फ्लाई ऐश के सम्बन्ध में राजस्व एवं पुलिस विभाग की टीम को निर्देशित किया गया कि इसके स्रोत का सही-सही पता लगायें तथा ग्रामवासियों को जागरूक करे, जिससे इस प्रकार की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो। मौके पर उपस्थित थानाध्यक्ष औंग को क्षेत्र में पेट्रोलिंग बढ़ाने तथा ऐसे किसी भी घटना को रोके जाने के निर्देश दिये गये। जिलाधिकारी द्वारा पुलिस को यह भी निर्देशित किया गया कि इस प्रकार की अवैध गतिविधियों में संलिप्त वाहनों को सीज किया जाये। अन्त में जिलाधिकारी द्वारा उपजिलाधिकारी, पुलिस क्षेत्राधिकारी, खण्ड विकास अधिकारी, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, अधिशाषी अभियन्ता जल निगम (ग्रामीण), अधिशाषी अभियन्ता लघु सिंचाई (भूगर्भ जल विभाग) एवं उपायुक्त उद्योग से सभी सम्बन्धित बिन्दूओं पर विस्तृत रिपोर्ट दिये जाने के निर्देश दिये गये। रिपोर्ट प्राप्त होने के पश्चात उपचारात्मक कार्यवाही की रूपरेखा निर्धारित करते हए दोषियों के उत्तरदायित्व निर्धारण की कार्यवाही भी की जायेगी।