-एसीएमओ ने मानव कल्याण, राधे कृष्णा, आरएस को दिया नोटिस, राधे अस्पताल को किया सील
फतेहपुर। प्राइवेट अस्पताल में आपरेशन के बाद एक महिला की इतनी हालत बिगड़ गई की उसको अपना इलाज लाखों रुपया खर्च कर मेदांता में कराना पड़ रहा है। शनिवार को पीड़ित परिवार महिला को लेकर डीएम के पास पहुंचा और मामले की शिकायत की। डीएम ने सीएमओ को जाँच कर कार्यवाई का आदेश दिया। जिसके बाद एसीएमओ ने छापामारी कर जहाँ एक अस्पताल को सील किया वहीं तीन अस्पतालो को नोटिस दिया है। खागा कोतवाली क्षेत्र के कुरा निवासी बलराम सिंह ने डीएम को दिया शिकायती पत्र में बताया कि 9 दिसंबर 2023 को शांति नगर स्थित मानव कल्याण हॉस्पिटल में बहु सोनम सिंह को डिलीवरी के लिए भर्ती किया था। अस्पताल के संचालक योगेश सिंह ने किसी अन्य डॉक्टर को बुलाकर बहू का ऑपरेशन कराया जिससे एक बच्ची पैदा हुई। बहु को एक सप्ताह भर्ती करने के बाद उसे डिस्चार्ज कर दिया। डिस्चार्ज होने के बाद रात में बहू की हालत अचानक खराब हो गई। तत्काल बहू को फिर से मानव कल्याण हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया जहां डॉक्टरों ने 10 से 12 दिन बहू का इलाज किया। अस्पताल में 1 लाख 25 हजार रुपया जमा किया। लेकिन बहू की हालत में कोई सुधार नहीं हुआ जिसके बाद उसे तत्काल कानपुर ले गए और वहां पर भी सुधार न होने पर बहू को मेदांता हॉस्पिटल लखनऊ में भर्ती कराया। जहां उसका अभी भी इलाज चल रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि इसकी शिकायत 29 जनवरी को अस्पताल के संचालक योगेश सिंह से की गई तो उन्होंने अपने साथी राहुल के साथ मिलकर गाली गलौज कर अस्पताल से भगा दिया। दोबारा आने पर जान से मारने की धमकी दी। पीड़ित ने जिलाधिकारी से मामले की जांच कर कार्रवाई की मांग की है। वहीं डीएम के आदेश के बाद एसीएमओ इश्तियाक अहमद ने अपनी टीम के साथ मानव कल्याण अस्पताल पहुंचे। अस्पताल में डाक्टर न मिलने पर एसीएमओ ने अस्पताल संचालक को नोटिस दिया है। इसके अलावा शान्तीनगर में बिना रजिस्ट्रेशन के भूतल पर चल रहे बेनाम अस्पताल को नोटिस दिया है। वहीं बगल में बिना रजिस्ट्रेशन के चल रहे राधे हॉस्पिटल को सील किया गया है। वर्मा चैराहा स्थित राधे कृष्णा अस्पताल में छापामारी की जहाँ कोई डाक्टर नहीं मिला। टीम ने अस्पताल को नोटिस दी है। एसीएमओ इश्तियाक अहमद ने बताया कि नोटिस का जवाब आने के बाद अस्पतालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।