PM Modi के इन 10 बयानों की झारखंड चुनाव में खूब हो रही चर्चा

रांची, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पांच चरणों में हो रहे झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए 9 दिसंबर तक कुल छह चुनावी रैलियों को संबोधित किया है। इस दौरान उन्‍होंने अपने भाषण में जहां जनता से एक बार फिर झारखंड में कमल खिलाने की अपील की, वहीं विरोधियों पर खासे हमलावर रहे। पीएम मोदी ने जम्‍मू कश्‍मीर-अनुच्‍छेद 370, अयोध्‍या-राम मंदिर, भ्रष्‍टाचार, आयुष्‍मान भारत-उज्‍जवला, कर्नाटक उपचुनाव पर सीधी बातें कीं। वहीं जल-जंगल-जमीन वाले प्रदेश के चुनावी रण में भगवान राम के साथ संबंध जोड़कर आदिवासियों के हितों को साधने से भी नहीं चूके। पीएम के चुनावी संबोधन में सबका साथ, सबका विकास और समृद्धि से सुशासन तक ऐसी कई बातें सामने आईं, जिसमें राजनीतिक विश्‍लेषकों ने अपने तरीके से निहितार्थ खोजे। आइए जानें पीएम मोदी के झारखंड के चुनावी रण में दिए गए 10 बड़े बयानों के बारे में, जिस पर अब तलक बड़ी-बड़ी बातें हो रही हैं….

  1. कांग्रेस समस्‍या की जननी, भाजपा समाधान की जनक : झारखंड के गुमला में प्रधानमंत्री ने अपने चुनावी दौरे का आगाज करते हुए कहा कि कांग्रेस केवल समस्‍याएं पैदा करती हैं, लेकिन भाजपा समाधान देती है। यहां आम लोगों से जुड़ते हुए प्रधानमंत्री ने एक-एक कर मोदी सरकार 1 और मोदी सरकार 2 के कई बड़े और जनहित से जुड़े फैसलों का बखान किया।
  2. अनुच्‍छेद 370 और अयोध्‍या मसले को कांग्रेस ने वोट बैंक के लिए लटकाया : डालटनगंज की रैली में पीएम मोदी ने कांग्रेस को निशाने पर रखा। यहां उन्‍होंने कहा कि एक देश एक विधान पर भाजपा का पूरा जोर है। जिन मुद्दों को कांग्रेस ने 70 साल तक अपनी वोट बैंक की राजनीति के लिए लटकाकर रखा, उसे हमने पूर्ण बहुमत की सरकार के ताकत के साथ एक झटके में खत्‍म कर दिया। अनुच्‍छेद 370 और अयोध्‍या राम मंदिर के मसले पर पीएम ने कहा कि सरकार की दृढ़ इच्‍छा‍शक्ति और आपकी दी हुई ताकत से यह सब संभव हो सका।
  3. कांग्रेस की गोद में बैठकर झामुमो भ्रष्‍टाचार की ताक में : प्रधानमंत्री ने गुमला की धरती से कांग्रेस और उसके गठबंधन सहयोगियों पर तीखे वार किए। कहा कि जिस कांग्रेस ने झारखंड आंदोलन कर रहे आदिवासी युवकों पर गोलियां चलवाईं, उसके साथ जाकर झारखंड मुक्ति मोर्चा ने अपने मूल्‍यों और सिद्धांतों से समझौता कर लिया है। कांग्रेस की गोद में बैठकर झामुमो भ्रष्‍टाचार की ताक में है। ताकि यहां के खनिज संपदा को बेचकर वे अपनी तिजारी भर सकें।
  4. राजकुमार राम को आदिवासियों ने बनाया मर्यादा पुरुषोत्‍तम श्रीराम : खूंटी में प्रधानमंत्री ने आदिवासियों से भगवान श्रीराम का जुड़ाव दर्शाते हुए कहा कि वे आदिवासी ही थे, जिनकी संगत में आकर राजकुमार राम, मर्यादा पुरुषोत्‍तम श्रीराम कहलाए। 14 साल के वनवास के दौरान राम को जिस तरह आदिवासियों ने मजबूती दी, वही उनके सरल व्‍यक्तित्‍व और मजबूत चरित्र को दुनिया के सामने लाता है।
  5. जहां कमल, वहां माेदी : जमशेदपुर की चुनावी रैली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाजपा के बागियों को चेताया, कोइ भ्रम न रहे। जहां कमल है, वहीं मोदी है। इस बयान को मुख्‍यमंत्री रघुवर दास के खिलाफ चुनाव लड़ रहे बीजेपी के बागी सरयू राय से जोड़कर देखा गया, जिसमें पीएम ने संदेश दिया कि भाजपा से इतर किसी के साथ उनकी कोई पहचान नहीं जुड़ी है।
  6. झारखंड में मौसम की तरह बदलते हैं मुख्‍यमंत्री : पीएम ने अपने चुनावी संबोधन में झारखंड में अब तक 10 मुख्‍यमंत्री बदले जाने पर भी कटाक्ष किया। कहा मैं गुजरात में अकेले 13 साल तक सीएम रहा और झारखंड ने अपने स्‍थापना काल से लेकर 19 साल में 10 मुख्‍यमंत्री बदल दिए। पीएम ने कहा जितनी तेजी से मौसम नहीं बदलते, उतनी तेजी से झारखंड में सीएम बदलता है।
  7. 19 साल के जवान झारखंड को दें सही दशा-दिशा : पीएम मोदी ने अपनी हर रैली में बार-बार 19 साल के युवा झारखंड की बात की। पीएम मोदी ने कहा- जब किशोर युवावस्‍था की दहलीज लांघकर 19वें साल में आता है तो मां-बाप की फिक्र बढ़ जाती है। क्‍या पढ़ेगा, क्‍या करेगा, करियर क्‍या चुनें, कौन सी नौकरी पकड़े ? इसी तरह 19 साल के झारखंड को सही दशा-दिशा देने के लिए जरूरी है कि स्थिर सरकार चुनें, जो अगले पांच साल में आपको वहां ले जाकर खड़ा करे, जहां से पीछे देखने की नौबत न आए।
  8. अटल जी ने बनाया झारखंड, हमने संवारा : प्रधानमंत्री ने झारखंड के बनने के पीछे पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के संकल्‍प का लगभग हर चुनावी सभा में जिक्र किया। पीएम ने कहा कि कांग्रेस ने दशकों तक देश में शासन किया, लेकिन कभी आदिवासियों की हितों से उनका मतलब नहीं रहा, वे बस झारखंड को खनिज दोहन का एक उपक्रम मान बैठे थे। केंद्र की अटल सरकार ने झारखंड बनाया और अब मोदी सरकार ने झारखंड को संवारने का बीड़ा उठाया है। झारखंड के गरीबों के लिए केंद्र का खजाना खोल दिया है।
  9. पिछड़ों की चिंता, पिछड़ा वर्ग आयोग और आरक्षण : पीएम मोदी ने ओबीसी आयोग और सामान्‍य वर्ग के गरीबों को दिए गए 10 फीसद आरक्षण को भी चुनावी भाषणों के केंद्र में रखा। करीब-करीब हर रैली में पीएम ने कहा भाजपा संकल्‍प से सिद्धि तक कार्यों को अंजाम देने में विश्‍वास करती है। इस कड़ी में भाजपा के संकल्‍पपत्र में शामिल किए गए ओबीसी आरक्षण को 27 फीसद तक बढ़ाने के मुद्दे पर भी पीएम ने अति पिछडा वर्ग से जुड़ने की पूर कोशिश की।
  10. कर्नाटक ने सिखा दिया गद्दारों को सबक : जनादेश का अपमान करने वालों पर जनता करारा पलटवार करती है, पीठ में छुरा घोंपने वाले को मतदाता कभी माफ नहीं करते…कहते हुए प्रधानमंत्री ने कर्नाटक उपचुनाव के नतीजे को भी झारखंड के परिदृश्‍य से जोड़कर विरोधियों को कठघरे में खड़ा किया। हजारीबाग के बरही और बोकारो की चुनावी रैली में पीएम ने कर्नाटक में कांग्रेस-जेडीएस गठजोड़ और महाराष्‍ट्र की बेमेल जोड़ी शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस को स्‍पष्‍ट संदेश दिया कि पिछले दरवाजे से बनी सरकार को जनता कायदे से सबक सिखाती है। गद्दारों को वोटर तगड़ा जवाब देते हैं।

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