उन्नाव प्रकरण सीबीआई ने रविवार को उन्नाव प्रकरण में गिरफ्तार भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर व माखी थाने के पूर्व एसओ अशोक कुमार भदौरिया व सब इंस्पेक्टर कामता प्रसाद का रविवार दोपहर को आमना-सामना कराया। इस दौरान आरोपी सब इंस्पेक्टर ने विधायक से बोला कि आपने एफआईआर के लिये फोन किया था इस पर विधायक ने पहले चुप्पी साधे रखी, फिर कहा कि वह तो जानकारी के लिये कहा था…। विधायक की रिमांड रविवार सुबह से शुरू हुई थी जबकि आरोपी पुलिसकर्मियों का रिमांड सोमवार सुबह तक ही है। दोनों से सवाल जवाब कर रही सीबीआई ने बीच में यह भी बोला कि पीड़िता के पिता के खिलाफ रिपोर्ट के लिये तहरीर देने वाले टिंकू सिंह से भी सामना कराया जायेगा। इसके बाद पूर्व एसओ व विधायक के तेवर कुछ बदल गये और उन्होंने इस एफआईआर व रेप के मामले में सीबीआई के हर सवाल का जवाब दिया। हालांकि इन सवाल जवाब के बारे में सीबीआई ने कुछ नहीं बताया। सीबीआई ने दो घंटे तक आमना सामना कराने के बाद सबको अलग-अलग कर दिया।सीबीआई के एक अफसर ने विधायक के सामने ही पूर्व एसओ अशोक कुमार भदौरिया से पूछा कि आखिर पीड़िता के पिता के निर्दोष होने पर भी उनके खिलाफ रिपोर्ट क्यों दर्ज की? इसको लेकर किसने-किसने दबाव डाला था। इस दौरान ही एक बार फिर सीबीआई के निशाने पर उन्नाव की पूर्व एसपी रहीं। हालांकि इन एसपी के खिलाफ आरोपी पुलिसकर्मियों ने ज्यादा कुछ नहीं कहा। सिर्फ इतना ही बोले कि उन्होंने एफआईआर के बारे में पूछा था।सीबीआई ने इस सच को भी जानने का प्रयास किया कि फर्जी मामले में गिरफ्तार कर जेल भेजे गये पिता के पास जो तमंचा बरामद दिखाया गया था, वह कहां से आया था। विवेचना के दस्तावेजों में भी इसको लेकर साफ जिक्र नहीं किया गया है। पीड़िता के पिता का मेडिकल न कराने की वजह भी पूछी गई। सीबीआई ने केस डायरी को लेकर भी पुलिसकर्मियों से सवाल पूछे। पीड़िता के पिता के खिलाफ फर्जी एफआईआर लिखने के आरोप में गिरफ्तार किये गये सब इंस्पेक्टरों की रिमांड अवधि सोमवार सुबह तक ही है। सीबीआई के अफसर सोमवार को जब इन दोनों पुलिसकर्मियों को कोर्ट में पेश करेगी तो इनकी रिमांड अवधि बढ़ाने के लिये भी अर्जी देगी। सीबीआई का तर्क है कि विधायक से अभी कुछ देर तक ही आमना-सामना कराया जा सका है। इनका पीड़िता व उसके परिवार और पिता के खिलाफ तहरीर देने वाले टिंकू सिंह से भी सामना कराया जाना है।