‘राम-मंदिर’ को बम से उड़ाने की रची साजिश’ जिसको एसटीएफ ने किया गिरफ्तार

यूपी एसटीएफ ने राम मंदिर, सीएम योगी आदित्यनाथ, एडीजी एसटीएफ अमिताभ यश और भारतीय किसान मंच के नेता देवेन्द्र तिवारी को बम से उठाने की धमकी देने वाले कथित दो आईएसआई एजेंट गिरफ्तार किए गए हैं, जिन्होंने ईमेल के माध्यम से यह धमकी देवेंद्र तिवारी की ईमेल आईडी पर भेजी थी। जिसके बाद पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर मामले की जांच शुरू की थी। जांच में सामने आया धमकी की मेल प्रसारित करने वाले भारतीय किसान नेता ने सुरक्षा लेने के लिए यह खेल कर रहा था।

गोंडा के रहने वाले हैं दोनों आरोपी
एसटीएफ के मुताबिक, 27 दिसंबर 2023 को डीजीपी मुख्यालय से जानकारी मिली थी कि एक्स आईडी (X)@iDevendraOffice से ट्विट किया गया है कि आईएसआई संगठन के जुबैर खान नामक के युवक ने एक मेल की है। जिसमें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, एसटीएफ चीफ अमिताभ यश, भारतीय किसान मंच के देवेन्द्रनाथ तिवारी के साथ ही अयोध्या राम मंदिर को बम से उडाने की धमकी दी गई।

जिसके आधार पर थ्रेट मैसेज भेजने वाली ई-मेल ईडी-alamansarikhan608@gmail.com और zubairkhanisi199@gmail.com का प्रयोग किया गया है, जिसकी मदद से एसटीएफ टीम ने गोंडा के धानेपुरु के विषंभरपुर निवासी ताहर सिंह और कटरा बमडेरा के ओम प्रकाश मिश्र को विभूतिखंड में गिरफ्तार किया गया है।

किसान नेता ने सुरक्षा के लिए भिजवाई थी धमकी
पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि बंथरा निवासी भारतीय किसान नेता देवेन्द्र तिवारी एक एनजीओ चलाते हैं। जिसके खिलाफ थाना मानकनगर, आशियाना, बन्थरा, गौतमपल्ली व आलमबाग में कई अभियोग भी दर्ज है। उसके आलमबाग स्थित इण्डियन इंस्टीट्यूट पैरा मेडिकल साइन्सेज के कार्यालय में दोनों काम करते हैं।

वहीं, ओम प्रकाश इसी कालेज से आप्टोमैट्री में दो साल का डिप्लोमा भी कर रहा है। देवेन्द तिवारी के कहने पर ही ताहर सिंह थ्रेट में इस्तेमाल करने हेतु फर्जी ई-मेल आईडी बनाया था। जिसके बाद नाका से दो माइल खरीदकर यह मेल किए गए।

देवेन्द्र तिवारी के मोबाइल फोन में मौजूद थ्रेट कन्टेन्ट को थ्रेट मेल भेजने में प्रयुक्त मोबाइल फोन के गूगल लेंस से स्कैन कर कापी पेस्ट कर मेल आईडी पर भेजा गया। जिसे देवेन्द्र तिवारी द्वारा अपने ट्वीटर के माध्यम से प्रसारित किया गया है। मेल भेजने के उपरांत मोबाइल फोन देवेन्द्र तिवारी द्वारा जलाकर नष्ट करा दिया गया।

Leave A Reply

Your email address will not be published.