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करोड़ों की बेशकीमती सरकारी जमीनों पर जारी है प्लाटिंग, भू-माफियाओं की बल्ले-बल्ले

– 2016 से हो रही शिकायत, कार्रवाई शून्य
– 1700 बीघा सरकारी व सुरक्षित जमीनों पर भू-माफियाओं का गिरोह सक्रिय, जिम्मेदारों ने साधी चुप्पी
– ग्राम समाज की जमीन पर हो रही प्लाटिंग का दृश्य।
फतेहपुर। जिले की अधिकतर ग्राम पंचायतों में तालाबी नंबरों और ग्राम समाज की जमीनों पर अवैध कब्जा कर मकान आदि निर्माण कराने का सिलसिला चल रहा है, लेकिन तालाबी नंबरों और ग्राम समाज की सैकडों बीघा भूमि पर प्लाटिंग कर करोडों का खेल करने का एक मामला अब तूल पकड़ने लगा है। बतातें हैं कि चकबंदी विभाग और राजस्व विभाग के जिम्मेदारों की सांठ-गांठ से रोड़ किनारें से लेकर अन्य रिहायसी इलाकों की बेशकीमती जमीनों का वारा-न्यारा किया जा रहा है और जिम्मेदार पूरी तरह से अनभिज्ञ बने हुए हैं। जिलाधिकारी की चौखट में आज आये एक पीड़ित ने आरक्षित जमीनों और ग्राम समाज की जमीनों को बचाने की गुहार लगाते हुये न्याय मांगा।
मामला खागा तहसील की ग्राम पंचायत मोहम्मदपुर गौंती का है। यहां एग संगठित भू-माफिया गिरोह ने तालाबी नंबरों व ग्राम समाज की करीब सत्रह सौ बीघा भूमि को बिक्री करने की योजना बनाई। इस योजना में उसे चकबंदी और राजस्व विभाग के जिम्मेदारों का संरक्षण प्राप्त होने की बात भी सामने आई है। भू-माफियाओं ने तालाबी नंबरों और ग्राम समाज की भूमि पर बाकायदे प्लाट काट कर उसका नक्शा तैयार कराया और प्लाटिंग कर डाला। ग्राम पंचायत गौंती के पूर्व प्रधान पति सगीर सिद्दीकी ने गुरूवार को जिलाधिकारी को एक शिकायती पत्र देते हुये बताया कि वह वर्ष 2016 से लगातार मामले की शिकायत साक्ष्य सहित करता आ रहा है, लेकिन जिम्मेदारों की मिली भगत होने स ेअब कि माफियाओं के खिलाफ किसी तरह की कोई कार्रवाई अमल में नहीं लाई जा सकी। जिलाधिकारी को दिए शिकायती पत्र में कहा गया है कि मई 2019 में उसने ग्राम पंचायत के तालाबों की रकबा सहित सूची बनाकर तत्कालीन जिलाधिकारी सहित अन्य उच्चाधिकारियों को दी थी। इसकी जांच चकबंदी विभाग को सौंपी गई, लेकिन कार्रवाई के नाम पर कुछ नहीं हो सका। उसने कहा कि भूमि नंबर 4864 तालबाी रकबा है। इस पर इश्तेयाक अहमद, अफाक अहमद पुत्रगण मो. फारूक का मकान निर्माण कराया गया, जो आकार पत्र-2 में दर्ज है। इस पर कार्रवाई नहीं हुई तो अफाक अहमद आदि ने अपना दूसरा मकान भी तालाबी नंबर के साथ ही ग्राम समाज की भूमि पर बना लिया है। इसके अलावा भूमि नंबर 4472 रकबा 3 बीघा 12 बिस्वा तालाबी खाता नंबर 1300 में दर्ज है। इसमें एक फर्जी खतौनी 1206 ब हसीब उद्दीन पुत्र खलील उद्दीन निवासी गौंती के नाम एक बीघा 19 बिस्वा बना कर इश्तेयाक पुत्र फारूख व अशरफ अली पुत्र शहादत अली ने 29 जनवरी 2021 को बिक्रय पत्र लिखा, जो जिल्द नंबर5516 पृ.सं. 183 लगायत 220 क्रमांक 978 पर दर्ज है। शिकायत में यह भी कहा गया है कि उक्त तालाबी भूमि पर बिना किसी सक्षम अधिकारी की अनुमति के वर्ष 2022 में पृथक-पृथक बिलेख तैयार कर बिक्री की गई। तालाब का सुन्दरीकरण कराये जाने की योजना में खण्ड विकास अधिकारी ने उप जिलाधिकारी खागा को पत्र लिखा था। बावजूद इसके अवैध निर्माण पर कोई कार्रवाई नहीं की गई, बल्कि जालसाजी में माहिर इस्तेयाक अहमद ने न्यायालय चकबंदी अधिकारी खागा के यहां मु.नं.-323 हसीब उद्दीन के स्थान पर स्थान पर अपना नाम दर्ज करा लिया गया, जिसकी सुनवाई की तिथि जुलाई में नियत है। इसी तरह तालाबी नंबर-6916 को जरिए बैनामा वर्ष 2022 में सकीना बीबी के नाम नामान्तरण करा लिया गया, जब इसकी शिकायत हुई तो नामान्तरण आदेश निरस्त किया गया। बावजूद इसके भू-माफियाओं के खिलाफ कोई कार्रवाई अमल में नहीं लाई गयी। तमाम दस्तावेजों के साथ शिकायतकर्ता द्वारा दिये गये शिकायती पत्र को जिला अधिकारी ने गंभीरता से लेते हुये समक्ष अधिकारी से जांच कराते हुये कार्रवाई का आश्वासन दिया है।

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