नेपाल में जनरेशन Z का बगावत, PM ओली ने दिया इस्तीफा

नेपाल: जनरेशन Z के नेतृत्व में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं, जो देश के राजनीतिक परिदृश्य में बड़ी हलचल मचा रहे हैं। सोशल मीडिया पर 26 प्लेटफॉर्म्स पर लगी पाबंदी के खिलाफ शुरू हुए ये आंदोलन तेजी से बढ़े और अब प्रधानमंत्री के.पी. शर्मा ओली के इस्तीफे का कारण बन गए हैं। इन प्रदर्शनों के दौरान हिंसा और संघर्ष भी देखने को मिला, जिसमें 34 लोगों की मौत हुई और 1,300 से अधिक लोग घायल हुए। प्रदर्शनकारी भ्रष्टाचार, सरकार की नीतियों और डिजिटल आज़ादी पर लगी पाबंदी के विरोध में सड़कों पर उतर आए हैं और राजनीतिक सुधारों की मांग कर रहे हैं।

इस आंदोलन की खास बात यह है कि इसमें नेपाल की युवा पीढ़ी, खासकर जनरेशन Z, प्रमुख भूमिका निभा रही है, जो सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी आवाज़ को तेज़ी से फैला रही है। इस युवा शक्ति ने पारंपरिक राजनीतिक ढांचे को चुनौती दी है और सरकार को मजबूर किया है कि वह अपनी नीतियों पर पुनर्विचार करे। प्रधानमंत्री के इस्तीफे के बाद अब पूर्व मुख्य न्यायाधीश सुशीला कार्की के अंतरिम प्रधानमंत्री बनने की संभावना है, हालांकि उनकी नियुक्ति को लेकर संविधान और उम्र संबंधी कुछ विवाद भी उठे हैं।

काठमांडू में धीरे-धीरे शांति बहाल हो रही है, बाजार और दुकानें खुलने लगी हैं और सुरक्षा बलों की तैनाती में कमी आई है, लेकिन अभी भी कुछ इलाकों में तनाव का माहौल बना हुआ है। यह घटनाक्रम नेपाल में लोकतांत्रिक प्रक्रिया, युवा राजनीतिक जागरूकता और डिजिटल युग के प्रभाव को दर्शाता है, जो देश की राजनीति और सामाजिक ताने-बाने को गहराई से प्रभावित कर रहा है। आने वाले दिनों में यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि इस युवा नेतृत्व वाला आंदोलन नेपाल के भविष्य को किस दिशा में ले जाता है और क्या यह आंदोलन स्थायी बदलाव की नींव रख पाएगा।

About Rizvi Rizvi

Check Also

“नेपाल विद्रोह का अराजक फायदा: 15 जेलों से 13 हज़ार से ज्यादा कैदी फरार”

सोमवार को शुरू हुआ Gen-Z प्रदर्शनकारियों का विरोध प्रदर्शन मंगलवार को भी जारी रहा. भले …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *