खागा, फतेहपुर। सावन के पवित्र महीने में भगवान शिव को जल चढ़ाने के लिए कांवर यात्रा करने वाले श्रद्धालुओं को इस बार भारी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। तहसील क्षेत्र के विभिन्न मार्गों की स्थिति इतनी जर्जर हो चुकी है कि उन पर न तो वाहन चल सकते हैं और न ही पैदल यात्रा करना सुरक्षित है। नौबस्ता घाट की ओर जाने वाला मुख्य मार्ग खागा हनुमान मंदिर से लेकर गोपालपुर स्थित नक्सारा नदी के पुल तक पूरी तरह से टूट चुका है। सड़क पर बड़े-बड़े गड्ढे बन चुके हैं जिनमें पानी भरने से फिसलने और चोट लगने का खतरा लगातार बना रहता है। इसी तरह भादर से प्रेमनगर तक का रास्ता भी बेहद खराब हालत में है। वहीं धाता कस्बे में बाईपास से दीपनगर चौराहे तक की सड़कें गड्ढों में तब्दील हो चुकी हैं। कांवरियों को इन्हीं खस्ताहाल रास्तों से होकर गुजरना पड़ेगा, जो उनके लिए काफी जोखिम भरा हो सकता है। स्थानीय व्यापार मंडल व आम नागरिकों ने कई बार इन मुद्दों को लेकर विरोध प्रदर्शन भी किया, लेकिन विभागीय अधिकारियों की ओर से केवल औपचारिकता निभाई जा रही है। सड़क मरम्मत के नाम पर बड़े-बड़े पत्थर और मिट्टी डालकर गड्ढे भरने का काम किया गया, जिससे रास्ते और भी खतरनाक हो गए हैं। स्थिति यह है कि लोग उन रास्तों पर न तो ठीक से चल पा रहे हैं और न ही कांवर लेकर सुरक्षित यात्रा कर सकते हैं। श्रद्धालुओं की आस्था के इस पर्व पर अगर जल्द ध्यान नहीं दिया गया, तो कोई बड़ा हादसा हो सकता है। प्रशासन से शीघ्र हस्तक्षेप की मांग की जा रही है।