– कलेक्ट्रेट में जमीन पर बैठकर प्रदर्शन करते कांग्रेसी।
फतेहपुर। बीते सोमवार को आताताइयों द्वारा शहर के आबूनगर स्थित मांगी मकबरा में घुसकर उसमें स्थित दो मजारों को तोड़े जाने पर आक्रोशित कांग्रेसियों ने जिलाधिकारी के माध्यम से राष्ट्रपति को एक ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में दर्शाया गया कि मकबरा चार सौ साल पहले बनवाया गया था जो राष्ट्रीय संपत्ति श्रेणी-1 कस्बा फतेहपुर के गाटा संख्या 753 में स्थित है। जिसका रकबा 1.765 है। जिसे मंदिर बताते हुए कब्जा करने का प्रयास किया जबकि ठाकुर विराजमान मंदिर की भूमि जिसका गाटा संख्या 1159 सरकारी अभिलेखों में दर्ज है। ज्ञापन में यह भी दर्शाया गया कि यह पूरा विवाद मकबरे में लगी जमीन में कब्जे को लेकर है। ज्ञापन में मांग की गई कि प्रशासन आतताइयों के ऊपर कठोर कार्यवाही करते हुए भविष्य में उसकी सुरक्षा का बंदोबस्त करे ताकि भविष्य में इसकी पुनरावृति न हो। जिलाध्यक्ष महेश द्विवेदी ने घटना की निंदा करते हुए भाजपाइयों द्वारा किए गए इस कृत्य की आलोचना की। आतताइयों के विरुद्ध कठोर कार्यवाही की मांग की। साथ ही उन्होंने कहा कि अगर प्रशासन चाह लेता तो इससे बचा जा सकता क्योंकि एक हफ्ते पूर्व से ही मामला प्रशासन के संज्ञान में था। जिसमें लापरवाही बरती गई। शहर अध्यक्ष मो. आरिफ गुड्डा ने कहा कि फतेहपुर सदैव गंगा जमुनी तहजीब के लिए प्रसिद्ध रहा है। कांग्रेस पार्टी ने भी सदैव आपसी भाईचारे की राह पसंद की है। इस प्रकरण में भी कांग्रेस चुप बैठने वाली नहीं है। भाजपा द्वारा बिगाड़े गए माहौल को शांत कर इस कुत्सित मानसिकता का जमकर विरोध करेगी। ज्ञापन में मुख्य रूप से वरिष्ठ नेता संतोष कुमारी शुक्ला, कलीम उल्ला सिद्दीकी, प्रकाश पाण्डेय, उदित अवस्थी, रामनरेश महराज, राजू लोधी, आशीष गौड़, चंद्र प्रकाश लोधी, ओम प्रकाश गिहार, सईद चच्चा, मोहसिन खान, नौशाद अहमद, अजय बच्चा, कौशल किशोर, मनोज घायल, आदित्य श्रीवास्तव, शकीला बानो, मिस्बाहुल हक, राम प्रकाश कोरी, रामकरन झंडे वाला, अरविंद सिंह, सलीम शेख, ग्यास सिद्दीकी, ओम प्रकाश कोरी, चौधरी मोइन राइन, अकरम काले आदि लोग मौजूद रहे।
