– एसडीएम खागा के माध्यम से राज्यपाल को भेजा ज्ञापन
– बांग्ला भाषा को विदेशी बताने जैसे शर्मनाक कृत्य को रोके जाने की मांग
– तहसील परिसर में प्रदर्शन करते भाकपा पदाधिकारी व कार्यकर्ता।
खागा, फतेहपुर। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी जिला काउंसिल ने अपने प्रांतीय व राष्ट्रीय आवाहन पर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन करके जनता की मूल समस्याओं का आठ सूत्रीय ज्ञापन एसडीम खागा के माध्यम से राज्यपाल को भेजा गया। ज्ञापन में उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा प्राथमिक विद्यालयों को छात्र संख्या के आधार पर बंद करने का विरोध किया गया जिसमें 6 से 14 साल तक के बच्चों जिन्हें शिक्षा का मौलिक अधिकार प्राप्त है। उन्हें यह सरकार शिक्षा से वंचित करना चाहती है। दूसरी ओर केंद्र सरकार द्वारा बांग्ला भाषी लोगों को भाषा के नाम पर परेशान कर रही है। बंगाली भाषा को विदेशी भाषा बताकर भाईचारा को बिगाड़ा जा रहा है जबकि बांग्ला भाषा भारतीय भाषाओं में से एक है। ज्ञापन में मांग की गई कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सात संख्या का बहाना बनाकर स्कूलों को बंद करने का आदेश वापस लिया जाए। विद्यालय में चार संख्या बढ़ाना उसमें गुणवत्ता बढ़ाना जिम्मेदारी सरकार की है। शिक्षा के मौलिक अधिकार को पूर्णतया लागू किया जाए। बाल मजदूरी रोकी जाए। नई शिक्षा नीति 2020 वापस ली जाए। शिक्षा का बजट बढ़ाया जाए और शिक्षा को अनिवार्य रूप से मुक्त किया जाए। बांग्ला भाषा को विदेशी बताने जैसे शर्मनाक कृत्य को रोका जाए। उत्तर प्रदेश में फतेहपुर सहित तमाम जिलों में सांप्रदायिक स्वभाव बिगड़ना मंदिर मस्जिद मकबरा के नाम पर हो रही सांप्रदायिक अराजकता को रोकते हुए इसके दोषियों को सख्त से सख्त कानूनी कार्रवाई की जाए। ज्ञापन देने वालों में जिला सचिव कामरेड राम प्रकाश, सह सचिव पूरनलाल, कामरेड रामकृष्ण हेगडे, कोषाध्यक्ष सुमन सिंह चौहान, कामरेड मोतीलाल एडवोकेट, कामरेड फूलचंद पाल, अमित रामचंद्र, राधेरमण पांडेय, छोटेलाल, कयामुद्दीन, नेम सिंह एडवोकेट, राम सुमेर सिंह एडवोकेट, शिवनारायण साहू, मूलचंद, हरिश्चंद्र, चंद्रशेखर सिंह, खुर्शीद अहमद, ज्ञानेंद्र सिंह, गढ़वा के जगन्नाथ सहित सैकड़ो कार्यकर्ता मौजूद रहे।
