तेलंगाना और महाराष्ट्र से दो ऐसी शर्मनाक घटनाएं सामने आई हैं, जिसने इंसानियत को झकझोर कर रख दिया है. हैदराबाद के एक बाल सुधार गृह में जहां एक सुपरवाइजर पर 6 नाबालिग लड़कों के साथ यौन शोषण का आरोप लगा है, वहीं महाराष्ट्र के ठाणे में एक ईंट भट्ठा मालिक और उसके बेटे पर एक आदिवासी मजदूर के साथ मारपीट और उसकी नाबालिग बेटी से जबरन मजदूरी कराने का मामला दर्ज हुआ है.
हैदराबाद के सईदाबाद इलाके के एक बाल सुधार गृह से एक दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है. यहां के सुपरवाइजर पर 6 नाबालिग बच्चों के साथ यौन शोषण करने का आरोप लगा है. यह मामला तब सामने आया जब 10 साल के एक बच्चे ने दशहरा की छुट्टियों में घर जाकर अपनी मां को पूरी आपबीती सुनाई. उसने कहा कि वह अब दोबारा बाल सुधार गृह नहीं जाना चाहता.
जब उसकी मां ने कारण पूछा तो बच्चे ने बताया कि सुपरवाइजर कई दिनों से उसके साथ गलत हरकत कर रहा था. यह सुनकर मां के होश उड़ गए और उसने तुरंत पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. पुलिस ने कार्रवाई करते हुए 27 वर्षीय आरोपी सुपरवाइजर को गिरफ्तार कर लिया. जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि वह सिर्फ एक बच्चे के साथ नहीं, बल्कि 5 और बच्चों के साथ भी इसी तरह की दरिंदगी कर चुका था.
सईदाबाद पुलिस के अनुसार, “आरोपी ने कई दिनों तक 10 साल के बच्चे के साथ यौन उत्पीड़न किया. छुट्टियों में घर जाने के बाद जब वह वापस लौटने से डरने लगा, तभी सच्चाई सामने आई.” पुलिस ने बताया कि आरोपी को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है और मामला दर्ज कर लिया गया है.
वहीं, महाराष्ट्र के पालघर जिले में एक और हैरान करने वाला मामला सामने आया है. यहां एक ईंट भट्ठा मालिक और उसके बेटे ने एक आदिवासी मजदूर को पीटने के साथ उसकी 13 साल की बेटी से जबरन काम भी करवाया. पुलिस के मुताबिक, आरोपियों ने मजदूर को 45,000 रुपये देकर ठाणे जिले के एक ईंट भट्ठे में काम पर रखा था. लेकिन जब यह आरोप लगाया कि वह काम ठीक से नहीं कर रहा है, तो उसे बुरी तरह पीटा और गालियां दीं. इतना ही नहीं, उन्होंने मजदूर की नाबालिग बेटी को भी ईंट भट्ठे में काम करने पर मजबूर किया, जबकि उन्हें पता था कि वह नाबालिग है.
पालघर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मारपीट, बाल श्रम और अत्याचार अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया है. मामले की जांच जारी है और पुलिस ने कहा कि इस तरह के अपराधों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी.