उत्तर प्रदेश में स्टाप और पंजीयन विभाग में बड़े स्तर पर तबादलों पर विवाद को लेकर बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने योगी आदित्यनाथ सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि प्रदेश में विभिन्न विभागों में भ्रष्टाचार के मामले देखने को मिल रहे हैं. उन्होंने प्रदेश सरकार से ऐसे मामलों में सख्ती से निपटने की मांग की और कहा कि सरकार को भ्रष्टाचार निरोधक विजिलेंस विभाग को फिर से सक्रिय करना चाहिए ताकि ऐसे मामलों से सख्ती से निपटा जा सके.
बसपा सुप्रीमो मायावती ने अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर पोस्ट कर योगी सरकार से भ्रष्टाचार के खिलाफ कदम उठाने की मांग की. उन्होंने पोस्ट में लिखा- “देश के अधिकतर प्रदेशों की तरह यूपी में भी हर स्तर पर सरकारी कार्यकलापों के साथ ही विभिन्न विभागों में भ्रष्टाचार और हिस्सेदारी के आरोपों से घिरे तबादलों की अनवरत आम चर्चा व खबरों का माननीय मुख्यमंत्री को कड़ा संज्ञान लेकर ना सिर्फ भ्रष्टाचार निरोधक विजिलेन्स विभाग आदि को सक्रिय करना बल्कि समयबद्ध एसआईटी का भी गठन करके व्यवस्था में आवश्यक सुधार करना जन व देशहित में जरूरी है.’ मायावती ने आगे लिखा कि ‘सरकारी भ्रष्टाचार व अफसरों की द्वेषपूर्ण मनमानी पर यूपी सीएम जितना जल्द सख़्त क़दम उठाए उतना बेहतर.’
अखिलेश यादव ने भी कसा तंज
इस पूरे मामले पर समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने भी योगी सरकार पर जोरदार हमला किया है. उन्होंने एक्स पर लिखा- ‘जिसको ट्रांसफ़र में नहीं मिला हिस्सा वही राज खोलके सुना रहा है किस्सा.. सच तो ये है कि कई मंत्रियों ने ट्रांसफ़र की फ़ाइल की ‘फ़ीस’ नहीं मिलने पर फ़ाइल लौटा दी है. सुना तो ये था कि इंजन ईंधन की मांग करता है पर यहां तो डिब्बा तक अपने ईंधन के जुगाड़ में लगा है.’
बता दें कि यूपी में स्टांप एवं पंजीयन विभाग में हुए तबादलों में बड़े पैमाने पर अनियमितताओं और पक्षपात की शिकायतें सामने आईं थी, जिसके बाद काफी बवाल हो गया. विवाद बढ़ने के बाद सीएम योगी ने तत्काल एक्शन लेते हुए सभी तबादलों पर रोक लगाते हुए जांच के आदेश दिए हैं. वहीं दूसरी तरफ इस मुद्दे को लेकर अब सत्ता पक्ष और विपक्षी दल एक दूसरे के आमने-सामने आ गए हैं. समाजवादी पार्टी लगातार इस मुद्दे को लेकर योगी सरकार पर हमलावर बनी हुई है.