– पेनाल्टी के नाम पर खातों व घरेलू सामानों को जब्त कर व्यापारियों को किया जा रहा अपमानित
– अफसरों पर सरकार की छवि धूमिल करने का लगाया आरोप
कलेक्ट्रेट में ज्ञापन देने के लिए खड़े व्यापारी।
फतेहपुर। जीएसटी के नाम पर राज्य कर अधिकारियों द्वारा व्यापारियों के किये जा रहे उत्पीड़न पर आक्रोश व्यक्त करते हुए उत्तर प्रदेश उद्योग व्यापार मंडल के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर की जा रही अपमानजनक कार्रवाई को रोके जाने की मांग किया।
गुरुवार को उत्तर प्रदेश उद्योग व्यापार मंडल (रजि) के जिलाध्यक्ष राजेंद्र प्रसाद मिश्रा की अगुवाई में व्यापारियों के प्रतिनिधिमंडल ने जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर राज्य कर अधिकारियों द्वारा जीएसटी की पेनाल्टी के नाम पर व्यापारियों के बैंक खातों को सीज करने व उनकी वस्तुओं को जब्त करने की कार्रवाई पर आक्रोश जताते हुए बंद करने की मांग किया। मुख्यमंत्री को भेजे ज्ञापन में घटनाओं का ज़िक्र करते हुए बताया कि राज्य कर अधिकारियों द्वारा झांसी में पांच हज़ार रुपये के बकाए पर व्यापारी की स्कूटी व दस हज़ार रुपये की बसूली में पुराने सोफा सेट को जब्त करने की कार्रवाई की गई। उन्होंने कहा कि राज्य कर अधिकारियों की इस कार्रवाई को व्यापारी के आत्मसम्मान को ठेस पहुंची है। बताया कि ई बिल व अन्य सभी परिपत्र होने के बाद भी मामूली त्रुटि पर वाहनों पर विभाग द्वारा भारी जुर्माना लगाया जाता है। अपील द्वारा रिफंड की बात कही जाती है, जिससे सरकार की छवि धूमिल हो रही है। उन्होंने इनकम टैक्स की तरह जीएसटी की दरों में भी कमी किये जाने की मांग किया। इस मौके पर आनन्द कुमार, बिंद्रा प्रसाद अग्रहरि, समीर गुप्ता, बाल गोपाल, रोहित कुमार, धर्मेंद्र मिश्रा, विमल कुमार अग्रहरि, रामबाबू जायसवाल, गिरीश चंद्र, पवन अग्रवाल आदि रहे।
