मध्य प्रदेश में भिंड जिले के रहने वाले एक साधारण रसोइए रविंद्र सिंह चौहान की जिंदगी में उस वक्त उथल-पुथल मच गई, जब उन्हें आयकर विभाग से 46 करोड़ रुपये के लेनदेन का नोटिस मिला. महज 10 हजार रुपये मासिक वेतन पर ढाबे में खाना बनाने वाले रविंद्र का दावा है कि उनका दिल्ली स्थित बैंक खाता धोखाधड़ी से इस्तेमाल किया गया है.
रविंद्र सिंह चौहान मूल रूप से भिंड के निवासी हैं और वर्तमान में ग्वालियर के एक ढाबे में रसोइए का काम करते हैं. उन्होंने बताया कि कुछ साल पहले वे दिल्ली के मेहरा टोल प्लाजा के मेस में हेल्पर के रूप में काम करते थे. वहां के मैनेजर ने प्रॉविडेंट फंड (पीएफ) के नाम पर उनका बैंक खाता दिल्ली में खुलवाया था. रविंद्र का कहना है कि उन्होंने कभी इस खाते का इस्तेमाल नहीं किया और न ही उन्हें इसकी कोई जानकारी थी. लेकिन, अब आयकर विभाग के नोटिस से पता चला कि इस खाते से 46 करोड़ रुपये का ट्रांजेक्शन हुआ है.
रविंद्र ने मीडिया को दिए बयान में कहा, “मैं तो बस ढाबे पर खाना बनाता हूं, महीने के 10 हजार रुपये कमाता हूं. इतने बड़े लेनदेन की मुझे कोई जानकारी नहीं है. यह साफ-साफ ठगी का मामला लगता है.”. उन्होंने इस मामले की शिकायत 30 जुलाई को ग्वालियर के साइबर सेल में दर्ज कराई है. शिकायत में उन्होंने बैंक खाते के दुरुपयोग और पहचान की चोरी का आरोप लगाया है.
साइबर सेल में शिकायत दर्ज होने के बाद भी अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है. रविंद्र का कहना है कि अगर पुलिस जल्द जांच नहीं करती, तो वे कोर्ट में याचिका दायर करेंगे. उन्होंने आगे कहा, “मैं गरीब आदमी हूं, ऐसे नोटिस से मेरी जिंदगी बर्बाद हो सकती है. मुझे न्याय चाहिए.” वहीं, आयकर विभाग की ओर से इस मामले में कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन, सूत्रों के मुताबिक जांच जारी है. ये भी पता चला है कि साइबर सेल बैंक रिकॉर्ड्स की जांच कर रही है. जल्द ही केस साफ हो जाएगा.